रोज रात्री शोडषेला पंधरावे लागते लेखनाचा धागा |
बेफ़िकीर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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अभ्यास केला पाहिजे लेखनाचा धागा |
विजय दिनकर पाटील |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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रात्रभर लेखनाचा धागा |
मिल्या |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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तुलना लेखनाचा धागा |
रसप |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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एक मी अवतार होतो कुंभकर्णाचा! वाहते पान |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:47pm |
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दगदगीमधे नित्याच्या प्रेमाला फुरसत होती! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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मी नाही रडणार उद्या लेखनाचा धागा |
वैवकु |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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नसतेच कधी जग दिसले इतके सुंदर लेखनाचा धागा |
वैवकु |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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माझे खरे कुणाशी कसलेही भांडण नाही! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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पाहिलेस तू करून जे तुला करायचे! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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पाहिलेस तू करून जे तुला करायचे! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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''ओलसर'' लेखनाचा धागा |
डॉ.कैलास गायकवाड |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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आता वाली कोण? लेखनाचा धागा |
रसप |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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असेच बंधनात राहू दे! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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शोधतो मी ज्यास तो हा चेहरा नाही! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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दाटते आहे निराशा (तरही) लेखनाचा धागा |
वैवकु |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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सुगंधी गर्भ ज्याचा तोच दरवळणार गाभारा! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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ज्याला जसे हवे ते बोलून मोकळा झाला! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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हे वेडे स्वप्न माझे.... लेखनाचा धागा |
धनेष नंबियार |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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भाबड्या मनाला माझ्या पढवून नको ते बसलो! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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भानगड चक्क वाजवी होती लेखनाचा धागा |
कौतुक शिरोडकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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....जिप्सी-लमाणी ती लेखनाचा धागा |
वैवकु |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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तुझा आभासही आता मनाला वाटतो दावा! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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पुण्य वाकले लेखनाचा धागा |
निशिकांत |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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दाटते आहे निराशा फार हल्ली (तरही) लेखनाचा धागा |
बेफ़िकीर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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दाटते आहे निराशा (तरही) लेखनाचा धागा |
आनंदयात्री |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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कधी मी आगही प्यालो, कधी मी झोकला वारा! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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आता खरी कळाली गोडी मला फळांची! लेखनाचा धागा |
सतीश देवपूरकर |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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विसरणेही तुझ्या लक्षात नाही (तरही) लेखनाचा धागा |
इस्रो |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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अध्यात्मवाद्यांची ईथे बोलतीच बंद आहे... लेखनाचा धागा |
आळुच्या वड्या |
Jan 14 2017 - 7:55pm |
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