हे असे जीवास नाहक जाळणे नाही बरे! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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दुरावा, राग, चिडखोरी खुबीने टाळता येते! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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वाटले तर मी उद्या शिंपीन माझे रक्तही लेखनाचा धागा |
वैवकु |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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अस्थी कृषीवलांच्या लेखनाचा धागा |
अभय आर्वीकर |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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आई मेंढ्या हाकत आहे, बाप दिवंगत आहे लेखनाचा धागा |
बेफ़िकीर |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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गझल हाय, गातात जैसे तराणे! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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मन घन होऊन.... लेखनाचा धागा |
ह.बा. |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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पाऊस लेखनाचा धागा |
कमलेश पाटील |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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सांगेन मी सुखाला भटकू नकोस आता लेखनाचा धागा |
कमलेश पाटील |
Jul 4 2017 - 10:04am |
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म्हणतात लोक, वारा पडला आहे..... लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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आवाज एक दिनरात पुकारत आहे! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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कुण्या आकाशगंगेची झळाळी का जगावी मी ? लेखनाचा धागा |
सुशांत खुरसाले |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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म्हणून म्हणतो आमच्यामधे भांडण नाही! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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इभ्रतीची लक्तरे लेखनाचा धागा |
निशिकांत |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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नाव आहे वेगळे वा बदलली आहे कथा लेखनाचा धागा |
रसप |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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"विरक्ती" लेखनाचा धागा |
डॉ.कैलास गायकवाड |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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"शांतता राखा" - तरही गझल लेखनाचा धागा |
डॉ अशोक |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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तुझ्याशी बोलताना मी : मात्रावृत्त वियदगंगा लेखनाचा धागा |
भारती.. |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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सुटेल हातचे असा करू नये उशीरपण ... लेखनाचा धागा |
अ. अ. जोशी |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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हे केस शुभ्र झाले, साठी समोर आली! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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कर बंद ही सराफी, नाही उठाव येथे! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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वडिलोपार्जित शून्य, कशाचा वारस आहे? लेखनाचा धागा |
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Jan 14 2017 - 8:03pm |
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एकेक तुझा शब्द मला उपहास वाटतो! लेखनाचा धागा |
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Jan 14 2017 - 8:03pm |
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टाकून पाहती ते माझ्यामधे गळाला! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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सांडू नकोस वा-या माझे पराग येथे...... लेखनाचा धागा |
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Jan 14 2017 - 8:03pm |
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पालटायाला हवा हंगाम थोडा! लेखनाचा धागा |
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Jan 14 2017 - 8:03pm |
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खोटारडेपणाची येते अता शिसारी! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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पाहिले कुणी ना माझे काळिज हे भळभळताना..... लेखनाचा धागा |
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Jan 14 2017 - 8:03pm |
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खूप काही मानवी जन्मात करण्यासारखे! लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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काय या, उपयोग आहे, छप्पराचा? लेखनाचा धागा |
profspd |
Jan 14 2017 - 8:03pm |
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